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2023 विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुटे कांग्रेस भाजपा/ वीआईपी जिले में पार्टी अध्यक्ष नियुक्ति को लेकर कोई रिस्क लेने को तैयार नहीं दोनो दल

*2023 चुनावी तैयारी,कांग्रेस में दुर्ग जिला ग्रामीण और भाजपा में भिलाई जिला अध्यक्ष बदलने की तैयारी?*

*दिवाली पूर्व भी घोषणा संभावित/किसकी होगी ताजपोशी समय के गर्त में*?


दुर्ग *( न्यूज इंडिया नेटवर्क छत्तीसगढ़ /सतीश पारख)* दुर्ग जिला को प्रदेश का वीआईपी जिला भी कहा जाय तो यह बात अतिशयोक्ति नहीं होगी क्योंकि दुर्ग जिला भूपेश सरकार का केंद्र बिंदु है सरकार में मुख्यमंत्री सहित  तीन कद्दावर मंत्री इसी जिले से है ।मुख्यमंत्री का निर्वाचन क्षेत्र पाटन,गृह लोक निर्माण मंत्री का निर्वाचन क्षेत्र दुर्ग ग्रामीण और पीएचई मंत्री रूद्र गुरु का निर्वाचन क्षेत्र अहिवारा दुर्ग जिले का ही हिस्सा है साथ ही अविभाजित दुर्ग जिले के वर्तमान बेमेतरा जिला के साजा विधानसभा से प्रदेश सरकार में कृषि और पंचायत ग्रामीण विकास मंत्री रविंद्र चौबे भी यही से है । इसी वजह से यह जिला वीआईपी जिला है जहां से प्रमुख विभागों के साथ पूरा प्रदेश संचालित हो रहा है ।ऐसी स्थिति में दुर्ग जिला से दोनो ही प्रमुख राजनीतिक दलों भाजपा और कांग्रेस से जिला अध्यक्षों की जिम्मेदारी  ऐसे कद्दावर कार्यकर्ता के हाथों से दोनो ही दल देना चाहते है जो सामाजिक समीकरणों के साथ साथ सभी कार्यकर्ताओं को एक जुटता के साथ जोड़कर पार्टी को मजबूती प्रदान करे और 2023 के विधानसभा चुनावों में  अपनी मजबूत स्थिति के साथ सरकार बनाने की इच्छा पूर्ण कर सके।

वर्तमान में कांग्रेस के भिलाई जिला अध्यक्ष मुकेश चंद्राकर मुख्यमंत्री के करीबी है।तो ग्रामीण जिला कांग्रेस अध्यक्ष निर्मल कोसरे भिलाई चरौदा निगम से कांग्रेस के महापौर पद पर है ।ऐसी स्थिति में दुर्ग जिला ग्रामीण अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी निर्मल कोसरे के स्थान पर किसी और कार्यकर्ता को देने की तैयारी पार्टी कर रही है।दूसरी ओर भाजपा के जिला अध्यक्ष पद पर कुछ माह पूर्व ही मुख्यमंत्री के निर्वाचन क्षेत्र के जितेंद्र वर्मा को दी गई है जो कुर्मी समाज से भी आते है और भाजपा विधायक दल के स्थायी सचिव की जिम्मेदारी भी बखूबी संभाल चुके है तथा दुर्ग जिला भाजपा अध्यक्ष नियुक्ति के बाद से लगातार सक्रिय हैं।पार्टी गतिविधियों को आगे बढ़ाने के साथ साथ समय समय पर सरकार की जनविरोधी नीतियों और कार्यों का विरोध कर अपनी उपस्थिति का परिचय देने में कोई कसर नही छोड़ रहे हैं। वहीं भाजपा भिलाई जिला अध्यक्ष पद पर साहु समाज से विरेंद्र साहू जिला अध्यक्ष हैं किंतु गुटबाजी के चलते पार्टी भिलाई जिला अध्यक्ष बदलने की मंशा रखती है ।जिस पद पर भाजपा के नवनियुक्त प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव किसी मजबूत और गुटबाजी से दूर भाजपा के दबंग कार्यकर्ता को यह जिम्मेदारी देना चाहती है । कहा जाय तो भाजपा भिलाई जिला अध्यक्ष और कांग्रेस से दुर्ग ग्रामीण जिला अध्यक्ष बदले जाने की प्रबल संभावनाओं को नकारा नहीं जा सकता। जिसके चलते
कार्यकर्ताओं में इस बात की भी सुगबुगाहट जोर पकड़ने लगी है की दुर्ग जिला में भिलाई भाजपा जिलाध्यक्ष व दुर्ग ग्रामीण कांग्रेस जिलाध्यक्ष की घोषणा शीघ्र  होने की कवायद लगाई जा रही है। जिसको लेकर राजनीतिक सरगर्मी भी बड़ी तेज हो गई है। हालांकि वर्तमान में भिलाई जिला भाजपा अध्यक्ष पद पर उतई के निवासी बीएसपी कर्मी वीरेन्द्र साहू व जिला कांग्रेस कमेटी दुर्ग ग्रामीण के जिलाध्यक्ष पद पर गनियारी निवासी नगर पालिक निगम चरोदा भिलाई तीन के महापौर निर्मल कोसरे पदस्थ है।लेकिन आगामी विधानसभा की लिहाज से नए जिलाध्यक्ष की तलाश दोनो पार्टियों में तेजी से हो रही है।ताकि आगामी विधानसभा चुनाव 2023 में कार्यकर्ताओं को जोड़कर अधिक से अधिक विधानसभा सीटो में उनके पार्टी के प्रत्याशी की जीत हो और सरकार बना सकें।इसको लेकर भाजपा व कांग्रेस का संगठन ज़मीनी स्तर पर काम मे लग गया है। हालाकि छग मे कांग्रेस की सरकार होने के कारण उनका फोकस संगठन की तरफ नही के बराबर है।लेकिन भाजपा मजबूती के साथ जमीनी स्तर पर काम कर रही है।जिसके परिणाम आगामी विधानसभा चुनाव में देखे जा सकते है। यह भी कहा जा रहा है कि छग मे कॉंग्रेस का आत्म सम्मोहन और भूपेश सरकार की किसान हितों की नीतियां भाजपा पर भारी न पड़ जाये?वहीं भाजपा भूपेश सरकार की अधिकांश योजनाओं को धरातल पर जीरो मानकर आशान्वित है फिर भी कोई कसर बाकी रखना नही चाहती है।साथ ही इस बार भाजपा दुर्ग जिला में गुटबाजी से ऊपर उठकर पार्टी के प्रति समर्पित मजबूत कार्यकर्ता को जिम्मेदारी देना चाहती है।जो भी हो अप्रत्याशित रूप से दोनो ही दल अपने अध्यक्षों का नाम घोषित कर सकती है।कांग्रेस में राष्ट्रीय अध्यक्ष और प्रदेश अध्यक्ष हेतु नामांकन भी हो चुके है राष्ट्रीय अध्यक्ष दिवाली पूर्व निर्वाचित हो जाना है किंतु प्रदेश अध्यक्ष पद पर ताजपोशी दिवाली बाद ही संभव है।ऐसे में जिला कांग्रेस अध्यक्ष की नियुक्ति भी प्रदेश अध्यक्ष के निर्वाचन के बाद ही संभव हो सकती है।

 हालांकि भाजपा ने छग में प्रदेश अध्यक्ष पद पर अरुण साव की ताजपोशी कर इस बात के संकेत दे दिए हैं की अब किसी तरह की गुटबाजी बर्दास्त नही की जाएगी जिसके चलते प्रदेश भाजपा अध्यक्ष द्वारा घोषित प्रदेश कार्यकारिणी में दुर्ग भिलाई से किसी भी नेता को शामिल नही कर इस वीआईपी जिले में गुटबाजी को दरकिनार कर किसी बड़े बदलाव के संकेत दे दिए हैं। जिसके चलते ही गुटबाजी से की गई भिलाई जिला भाजपा अध्यक्ष पद पर शीघ्र नई नियुक्ति की संभावना की नकारा नहीं जा सकता।
दोनो ही दलों में कब तक नियुक्तियां होगी यह विषय समय के गर्त में है किंतु यह तय है की सब नियुक्तियां 2023 विधानसभा चुनावों को मद्देनजर रख की जाएगी और इस मामले में दोनो ही प्रमुख दल किसी भी तरह का रिस्क लेना नही चाहती इसलिए खूब सोच समझकर ही नियुक्तियां की जाने की संभावना को नकारा नहीं जा सकता।

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